दिवाली की शुरुआत धनतेरस से ही हो जाती है और दिवाली पर ही क्यों बर्तन और धनिया खरीदना शुभ माना जाता हैं? आज के इस आर्टिकल में जानेंगे
बस्ती: धनतेरस का दिवाली से पहले बहुत बड़ा महत्व है, दिवाली का उत्सव धनतेरस से शुरू हो जाता है लोग धनतेरस पर ही अपने घरों को सजाना शुरू कर देते हैं। सभी लोग धनतेरस पर सोने के बर्तन अथवा स्टील के बर्तन खरीदना शुभ मानते हैं, कई लोग इस दिन झाड़ू और धनिया भी खरीदते हैं, ऐसा माना जाता है कि इन चीजों को खरीदने से घर में सुख और समृद्धि आती है।
कब हैं धनतेरस
हिंदू पंचांग के अनुसार धनतेरस 29 अक्टूबर को मनाया जाएगा, ऐसा माना जाता है कि इस दिन समुद्र मंथन के समय भगवान धन्वंतरि का जन्म हुआ था, जब वह समुद्र से प्रकट हुए थे तो उनके हाथ में अमृत का एक कलश भी था। धनवंतरी को हुई चिकित्सा पद्धति का जनक भी माना जाता है। और दिवाली के दिन पर बर्तन खरीदने का एक महत्वपूर्ण कारण यह भी है क्योंकि जब धनवंतरी समुद्र से प्रकट हुए थे तो उनके हाथ में अमृत का एक कलश था जो की धातु से बना था, इसलिए सभी लोग धनतेरस पर बर्तन खरीदना शुभ मानते हैं। इतना ही नहीं ज्योतिषियों द्वारा बताए गए कुछ सुख और समृद्धि लाने के तरीकों को भी हम इस आर्टिकल में जानेंगे।
धनतेरस पर क्यों ख़रीदा जाता हैं नया सामान
बहुत से ज्योतिषियों का यह मानना है कि दिवाली के दिन पर गाड़ी प्रॉपर्टी बर्तन धनिया झाड़ू आदि खरीदना इसलिए शुभ होता है क्योंकि यह सभी वस्तुएं धन की देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करती हैं और घर में सुख और समृद्धि आती है।
धनतेरस के उपाय
बहुत से ज्योतिषियों का यह मानना है कि धनतेरस पर कुछ खास उपाय करके घर में सुख और समृद्धि लाने को सुनिश्चित किया जा सकता है। पहले उपाय तो यह है कि धनिया खरीद कर धन की देवी लक्ष्मी और भगवान धन्वंतरि को अर्पित करना।
क्यों चढ़ाया जाता हैं लक्ष्मी जी को धनिया
धनिया को मां लक्ष्मी को अर्पित करना बहुत शुभ माना जाता है, धनतेरस के दिन आप धनिया खरीद के लाएं और उसे एक चांदी के बर्तन में रख दें फिर उसे दिवाली के दिन पर चांदी के बर्तन से निकालकर मां लक्ष्मी को चढ़ाई और उसका बी किसी गमले में लागा दें, बाकी बचे हुए धनिया को एक लाल कपड़े में बांधकर अपने घर की तिजोरी में रख दे इससे घर में सुख और समृद्धि हमेशा आती रहेगी, और धन की कभी समाप्ति नहीं होगी।